भारत का शायद ही ऐसा कोई शहर हो जहां पारले जी बिस्किट नहीं मिलता.
एक तरह से देखा जाए तो ये बिस्किट ज्यादातर भारतीयों के बचपन से जुड़ा हुआ है.
चलिए अब जानते हैं कि आखिर अमेरिका में ये कितने का मिलता है.
आपको बता दें, पारले जी बिस्किट की शुरुआत मुंबई के विले पारले इलाके में एक बंद पड़ी पुरानी फैक्ट्री से हुई थी.
साल 1929 में मोहनलाल दयाल ने ये फैक्टरी खरीदकर इसमें सबसे पहले कन्फेक्शनरी बनाने का काम शुरू किया.
आपको जान कर हैरानी होगी कि आजादी से पहले पारले-जी का नाम ग्लूको बिस्किट हुआ करता था.
लेकिन, आजादी के बाद देश में छाए अन्न संकट की वजह से इसका उत्पादन बंद करना पड़ गया था.
दरअसल, इस बिस्किट को बनाने में गेंहू का इस्तेमाल होता है और उस वक्त भारत गेंहू की कमी से जूझ रहा था
इसके बाद जब दोबारा इस बिस्किट का उत्पादन शुरू हुआ तो बाजार में कई कंपनियां कॉम्पिटीशन में आ चुकी थीं.
इसमें पहला नाम ब्रिटानिया का ग्लूकोज-डी बिस्किट का था.
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